पुरी में जगन्नाथ मंदिर केे कुछ आश्चर्यजनक तथ्य:-
1. मन्दिर के ऊपर स्थापित ध्वज सदैव हवा के विपरीत दिशा में लहराता है।
2. पुरी में किसी भी स्थान से आप मन्दिर के ऊपर लगे सुदर्शन चक्र को देखेंगे तो वह
आपको सदैव अपने सामने ही लगा दिखेगा।
आपको सदैव अपने सामने ही लगा दिखेगा।
3. सामान्य दिनों के समय हवा समुद्र से जमीन की तरफ आती है, और शाम के दौरान
इसके विपरीत, लेकिन पुरी में इसका उल्टा होता है ।
इसके विपरीत, लेकिन पुरी में इसका उल्टा होता है ।
4. पक्षी या विमानों को मंदिर के ऊपर उड़ते हुए नहीं पायेगें।
5. मुख्य गुंबद की छाया दिन के किसी भी समय अदृश्य ही रहती है ।
6. मंदिर के अंदर पकाने के लिए भोजन की मात्रा पूरे वर्ष के लिए रहती है।
प्रसाद की एक भी मात्रा कभी भी व्यर्थ नहीं जाती,चाहे हजार लोगों से 20 लाख लोगों
को खिला सकते हैं ।
प्रसाद की एक भी मात्रा कभी भी व्यर्थ नहीं जाती,चाहे हजार लोगों से 20 लाख लोगों
को खिला सकते हैं ।
7. मंदिर की रसोई में प्रसाद पकाने के लिए 7 बर्तन एक-दूसरे पर रखा जाता है और
सब कुछ लकड़ी पर ही पकाया जाता है ।
इस प्रक्रिया में शीर्ष बर्तन में सामग्री पहले पकती है फिर क्रमश: नीचे की तरफ एक
के बाद एक पकती जाती है।
सब कुछ लकड़ी पर ही पकाया जाता है ।
इस प्रक्रिया में शीर्ष बर्तन में सामग्री पहले पकती है फिर क्रमश: नीचे की तरफ एक
के बाद एक पकती जाती है।
8. मन्दिर के सिंहद्वार में पहला कदम प्रवेश करने पर ही (मंदिर के अंदर से) आप
सागर द्वारा निर्मित किसी भी ध्वनि को नहीं सुन सकते,आप (मंदिर के बाहर से)
एक ही कदम को पार करें जब आप इसे सुन सकते हैं,इसे शाम को स्पष्ट रूप से
अनुभव किया जा सकता है।
सागर द्वारा निर्मित किसी भी ध्वनि को नहीं सुन सकते,आप (मंदिर के बाहर से)
एक ही कदम को पार करें जब आप इसे सुन सकते हैं,इसे शाम को स्पष्ट रूप से
अनुभव किया जा सकता है।
साथ में यह भी जाने:-
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मन्दिर का रसोईघर दुनिया का सबसे बड़ा रसोईघर है।
प्रति दिन सांयकाल मन्दिर के ऊपर स्थापित ध्वज को मानव द्वारा उल्टा चढ़ कर
बदला जाता है।
बदला जाता है।
मन्दिर का क्षेत्रफल चार लाख वर्ग फिट में है।
मन्दिर की ऊंचाई 214 फिट है।
विशाल रसोई घर में भगवान जगन्नाथ को चढ़ाने वाले महाप्रसाद का निर्माण करने
हेतु 500 रसोईये एवं उनके 300 सहायक-सहयोगी एक साथ काम करते है।
हेतु 500 रसोईये एवं उनके 300 सहायक-सहयोगी एक साथ काम करते है।
हमारे पूर्वज कितने बढे इंजीनियर रहें होंगे !!
अपनी भाषा अपनी सनातन संस्कृति अपनी सभ्यता पर गर्व करो
गर्व से कहो हम हिंदू है।
ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ
गर्व से कहो हम हिंदू है।
ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ
जयति पुण्य सनातन संस्कृति,,जयति पुण्य भूमि भारत,,,
सदा सुमंगल,,,वंदेमातरम,,,
ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ नमो भगवते वासुदेवाय
सदा सुमंगल,,,वंदेमातरम,,,
ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ ॐ नमो भगवते वासुदेवाय
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